एमपी स्टेट बार बीसीआइ के फैसले तक समिति पुनर्गठन न करें
एमपी स्टेट बार काउंसिल के विवाद को लेकर बार कौंसिल आफ इंडिया, बीसीआइ में पुनरीक्षण याचिका पर 27 जनवरी को सुनवाई हुई। बीसीआइ ने वर्तमान चेयरमैन डा. विजय कुमार चौधरी को आदेश दिया कि इस मामले का अंतिम फैसला आने तक समितियों के पुनर्गठन पर चर्चा नहीं करें।उल्लेखनीय है कि चेयरमैन डा. चौधरी ने आगामी 30 जनवरी को सामान्य सभा की बैठक बुलाई है। इस बैठक में एक मुद्दा कौंसिल की समितियों के पुनर्गठन पर चर्चा भी है। इसे लेकर कार्यकारिणी समिति के उपाध्यक्ष अहादुल्ला उसमानी ने बीसीआइ में अर्जी दाखिल की। इस पर बीसीआई ने साफ किया कि हाई कोर्ट ने उसके पूर्व आदेश की सही व्याख्या की है।लिहाजा, उस आदेश के अनुसार सभी समितियां पूर्ववत कार्यरत रहेंगी। बीसीआइ ने यह भी कहा कि सभी सदस्य परस्पर सद्भावनापूर्वक कार्य करें। बीसीआइ व हाई कोर्ट के आदेश की अवहेलना न की जाए। बीसीआई ने अपने आदेश में कहा कि उसके द्वारा गठित जांच समिति 10 दिन के भीतर या तो भौतिक या वर्चुअल रूप से सदस्यों से चर्चा करेगी। बीसीआइ ने साफ किया कि हाई कोर्ट ने उसके पूर्व आदेश की सही व्याख्या की है।
लिहाजा, उस आदेश के अनुसार सभी समितियां पूर्ववत कार्यरत रहेंगी। स्टेट बार कार्यकारिणी समिति के उपाध्यक्ष अहादुल्ला उस्मानी की पुनरीक्षण याचिका पर सुनवाई करते हुए बीसीआइ ने साफ किया कि सभी सदस्य परस्पर सद्भावनापूर्वक कार्य करें। बीसीआइ व हाई कोर्ट के आदेश की अवहेलना न की जाए। कार्यकारिणी समिति के अध्यक्ष वरिष्ठ अधिवक्ता मृगेंद्र सिंह, उपाध्यक्ष अहादुल्ला उस्मानी, सदस्य शैलेंद्र वर्मा, नरेंद्र जैन, अखंड प्रताप सिंह, जय हार्डिया, राधेलाल गुप्ता, प्रेम सिंह भदौरिया, प्रताप मेहता, रश्मि ऋतु जैन, जय प्रकाश मिश्रा सहित अन्य ने बीसीआइ के आदेश का स्वागत किया है।