नड्डा और खड़गे को चुनाव आयोग का नोटिस
चुनाव आयोग ने बुधवार को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा को नोटिस जारी किया। आयोग ने दोनों ही पार्टियों से भाषणों में मर्यादा बनाए रखने के लिए कहा है।
आयोग ने दोनों पार्टियां के स्टार प्रचारकों को धार्मिक और सांप्रदायिक बयानबाजी न करने का निर्देश दिया है। साथ ही भाजपा से उन प्रचार भाषणों को रोकने के लिए कहा है, जिनसे समाज में बंटवारा हो सकता है। चुनाव आयोग ने कांग्रेस से कहा कि वह संविधान को लेकर गलत बयानबाजी न दें। जैसे कि भारत के संविधान को खत्म किया जा सकता है या बेचा जा सकता है। इसके अलावा अग्निवीर पर बोलते हुए इलेक्शन कमीशन ने कांग्रेस से कहा कि वो डिफेंस फोर्स का राजनीतिकरण न करें।
अग्निवीर पर राहुल ने कहा था- देश में दो तरह के जवान
राहुल गांधी की सेना पर टिप्पणी के खिलाफ भाजपा का डेलीगेशन 14 मई को चुनाव आयोग शिकायत करने पहुंचा। राहुल ने 13 मई को रायबरेली में कहा था- मोदी ने दो तरह के सैनिक बनाए हैं। एक गरीब, पिछड़े, आदिवासी और दलित का बेटा और दूसरा अमीर घर का बेटा।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने आयोग के ऑफिस पहुंचकर राहुल और उनकी पार्टी के कई नेताओं के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने कहा कि ये सैनिकों पर सीधा हमला है। कांग्रेस इसे विवाद का मुद्दा बनाना चाहती है और सैनिकों का मनोबल गिराना चाहती है। यह चुनाव का मामला नहीं है, यह राष्ट्रीय सुरक्षा का मामला है। चीन के खिलाफ देश की सुरक्षा के लिए भारतीय सेना गंभीरता के साथ अपनी पूरी ताकत लगा रही है।
जयशंकर बोले- कांग्रेस पहले भी सेना पर उठा चुकी है सवाल
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि यह पहली बार नहीं कि जब कांग्रेस ने भारतीय सेना पर हमला किया हो। इससे पहले भी जब हमारे सैनिकों ने अरुणाचल प्रदेश में चीन के सैनिकों को आगे आने से रोका था और उन्हें खदेड़ दिया था। उस वक्त भी राहुल गांधी ने संसद में कहा था भारतीय सैनिकों की पिटाई हुई है। ये अपमान हम देखते आ रहे हैं।
इससे पहले भी जब बालाकोट में जब सैनिकों ने सर्जिकल स्ट्राइक की तो भी इन लोगों ने उस पर सवाल उठाए , जब हम हमने उरी में एक्शन लिया उस पर भी इन लोगों ने सवाल उठाए। जयशंकर ने आगे कहा कि देश बर्दाश्त नहीं करेगा कि हमारे सैनिकों पर राजनीतिक कारण की वजह से ऐसे हमले हों।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मीडिया को सेना को लेकर राहुल की टिप्पणी को पढ़कर सुनाया।
EC ने हेट स्पीच मामले में भाजपा-कांग्रेस को नोटिस जारी किया था
25 अप्रैल को चुनाव आयोग के पोल पैनल ने कांग्रेस और भाजपा की एक-दूसरे के खिलाफ की गई शिकायतों के आधार पर दोनों पार्टियों के अध्यक्षों को नोटिस जारी किया था। यह नोटिस आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायतों पर लोक प्रतिनिधित्व कानून 1951 के सेक्शन 77 के तहत इश्यू किया गया।
यह पहली बार है जब आयोग ने स्टार प्रचारक की जगह पार्टी अध्यक्षों को नोटिस जारी किया। PM नरेंद्र मोदी भाजपा और राहुल गांधी कांग्रेस के स्टार प्रचारक हैं। इस लिहाज से इनके भाषणों के लिए EC ने पार्टी अध्यक्षों को जिम्मेदार माना है।
चुनाव आयोग से PM मोदी और राहुल गांधी के भाषण में आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत की गई थी। शिकायत में कहा गया कि ये लीडर्स धर्म, जाति, समुदाय और भाषा के आधार पर लोगों को बांटने और नफरत फैलाने का काम कर रहे हैं।
चुनावी रैलियों में नफरती भाषण मामले में जवाब देने के लिए भाजपा ने चुनाव आयोग (EC) से एक हफ्ते और कांग्रेस ने दो हफ्ते का वक्त मांगा। चुनावी रैलियों में पीएम मोदी और राहुल गांधी की तरफ से नफरती भाषण देने के मामले में भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को चुनाव आयोग को 29 अप्रैल को जवाब देना था। हालांकि अभी तक जवाब नहीं दिया गया है।