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गंदा पानी पीने को मजबूर ग्रामीण, नल जल योजना अधूरी

सुल्तानगंज क्षेत्र के ग्राम बांकोरी में गर्मी का मौसम शुरू होने से पहले जलसंकट पैदा हो गया है। ग्रामीण मेहनत मजदूरी के साथ-साथ उन्हें रात दिन पेयजल की पूर्ति के लिए दूर खेतों में बने कुओ का सहारा लेना पड़ रहा है। जहां नंबर लगाकर लोग पानी भर रहे हैं। अभी से लोग पानी की किल्लत का सामना कर रहे ग्रामीणों की कोई सुध लेने वाला नहीं है। ग्राम में एकमात्र हैंडपंप है जो विगत कई दिनों से खराब पड़ा है। हैंडपंप कई वर्षों पुराना हो गया है। जिससे उसकी पाइप लाइन जंग लगने के कारण जगह . जगह से क्षतिग्रस्त हो गई हैं। पाइपलाइन किसी काम की नहीं बची है। पाइपलाइन सहित हैंडपंप पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया है। शिकायत करने पर मेकेनिक नल को सुधारने तो आते हैं परंतु नल एक दिन से भी ज्यादा नहीं चलता और पुनः बिगड़ जाता है। पाइपलाइन सहित अन्य सामग्री को बदलने के लिए कई बार ग्रामीणों द्वारा आग्रह किया गया, लेकिन अधिकारी इस ओर ध्यान नहीं देते हैं। ऐसी स्थिति में ग्रामीण गांव से करीब एक किलोमीटर दूर खेतों में बने कुओं से पानी ला रहे हैं। ऐसे कुओं में इन दिनों पानी कम होने की वजह से पानी तलहटी में पहुंच गया है । झिरों से मामूली पानी रिस्ता है ए पानी एकत्रित होने के बाद उक्त गंदे पानी को ग्रामीण रस्सी बाल्टी के सहारे भरते हैं पीने को मजबूर हैं। मटमैला पानी पीकर ग्रामीण पेट विकार से ग्रस्त हो रहे हैं।

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स्वीकृत है नल जल योजना

बांकोरी गांव की जल समस्या के निदान के लिए नल जल योजना स्वीकृत की गई थी। लाखों रुपये की लागत से ग्राम से काफी दूर बाहरी इलाके में वर्षों पहले नल जल योजना हेतु कुए का निर्माण कराया गया था। लेकिन आज तक उक्त कुए के माध्यम से गांव में नल जल योजना को चालू नहीं किया गया।

क्या कहते हैं ग्रामीण

गांव के पटेल पंडित द्वारका प्रसाद पाराशर, सुनील शर्मा एडवोकेट, किशन सिंह ठाकुर, राजेन्द्र सिंह, शिवराज सिंह, कल्याण सिंह, बसंत सिंह, विपिन सिंह एवं समस्त ग्रामीणजनों का कहना है कि साधन संपन्ना लोग तो अपने वाहनों से पानी भरकर ले आते हैं या टैंकर बुलवा लेते हैं। लेकिन मध्यम व गरीब वर्ग जो मजदूरी करते हैं उसके लिए जल समस्या किसी युद्ध से कम नहीं है। ग्रामीणों की मांग है कि ग्राम में नल जल योजना का लाभ ग्रामीणों को दिलाया जाए एवं हैंडपंप की लाइन एवं क्षतिग्रस्त हैंडपंप को बदला जाए । जब तक उक्त व्यवस्थाएं नहीं होती हैं तो टैंकरों के जरिए गांव में पानी उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जाए। इस संबंध में पीएचई विभाग के इंजीनियर एवं प्रभारी एसडीओ राजेश शर्मा का कहना है कि बाकोरी गांव में जल समस्या की जानकारी नहीं है। हम बाहर है तो कुछ नहीं बता सकते।

गेहूं की फसल आने से पहले भंडारण गृह तैयार

जनपद अध्यक्ष ने पूजन कर शुभारंभ किया

बेगमगंज। नवदुनिया न्यूज

जल्द ही गेहूं की फसल कटकर बाजार में आने वाली है। इसके लिए भंडारगृह तैयार किए जाने लगे हैं। अपने गृह ग्राम चांदवड़ में जनपद अध्यक्ष कृष्णकांता पटेल ने क्षेत्र के गरीब उपभोक्ताओं की समस्या को ध्यान में रखते हुए मनरेगा से 11 लाख 25 हजार की लागत से निर्मित अनाज गृह भंडारण का पूजा-अर्चना कर शुभारंभ किया है। अनाज भंडारण गृह निर्माण में मनरेगा से क्षेत्र के गरीब मजदूरों को काम मिला जिन्हें एक लाख 25 हजार की मजदूरी का भुगतान किया गया है। यहां शासकीय उचित मूल्य की दुकान संचालक कर गरीबों को राशन वितरण भी किया गया। जनपद पंचायत अध्यक्ष पटेल ने बताया कि सभी 60 ग्राम पंचायतों में अलग-अलग ऐसे अनाज ग्रह भंडारण निर्माण कराए जाने की योजना है। आवश्यकता के अनुसार निर्माण कराए जाएंगे और कई जगह चल भी रहे हैं। उपभोक्ताओं को उनके गृह ग्राम में ही शासकीय उचित मूल्य का राशन उपलब्ध हो सके।

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