इंदौर में जनोपयोगी लोक अदालत में याचिका दायर होते ही शुरू हो गई सार्वजनिक बोरिंग से सप्लाई
सुदामा नगर क्षेत्र के रहवासी सालों से जलसंकट झेल रहे थे। क्षेत्र में नगर निगम द्वारा हवा बंगला पानी की टंकी से सप्लाई की जानी थी लेकिन टंकी से दूरी ज्यादा होने और ऊंचाई होने की वजह से टंकी भरा नहीं पाती थी। जवाहरलाल चांदवानी ने इस मुद्दे को लेकर जिला न्यायालय में लगने वाली जनोपयोगी लोक अदालत में याचिका प्रस्तुत की। उनका कहना था कि विधायक निधि से क्षेत्र में जलप्रदाय के लिए सार्वजनिक बोरिंग करवाया गया था लेकिन जलप्रदाय की व्यवस्था ही नहीं की गई। जनोपयोगी लोक अदालत में याचिका प्रस्तुत होते ही निगम ने सार्वजनिक बोरिंग से पानी की सप्लाई व्यवस्था में सुधार कर दिया गया। याचिकाकर्ता ने कोर्ट को बताया कि रहवासियों की सालों से चली आ रही समस्या जनोपयोगी लोक अदालत में याचिका दायर होने से दूर हो गई।
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सचिव एडीजे मनीष श्रीवास्तव ने बताया कि जनोपयोगी लोक अदालत में प्रकरणों का त्वरित निराकरण किया जा रहा है। कोई भी शहरवासी जो सड़क, जल, मल, विद्युत, प्रकाश, स्वच्छता, नाली, सड़क परिवहन सेवा, अस्पताल या डिस्पेंसरी सेवा से संबंधित किसी समस्या से परेशान है वह अपना आवेदन जिला न्यायालय स्थित जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में प्रस्तुत कर सकता है।
फूड टेस्टिंग लैब को लेकर सुनवाई पूरी, फैसला सुरक्षित – फूड टेस्टिंग लैब को लेकर हाई कोर्ट में चल रही जनहित याचिका में सोमवार को सुनवाई पूरी हो गई। कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया। शासन याचिका में जवाब दे चुका है कि लैब का काम चल रहा है और जल्द ही लैब काम शुरू कर देगी। याचिकाकर्ता का कहना है कि काम की गति बहुत सुस्त है। याचिका पूर्व पार्षद महेश गर्ग ने दायर की है। इसमें कहा है कि इंदौर में खाद्य वस्तुओं का करोड़ों का व्यापार है। बावजूद इसके यहां खाद्य वस्तुओं की जांच के लिए इंतजाम नहीं हैं। खाद्य वस्तुओं के नमूने जांच के लिए भोपाल भेजने पड़ते हैं। जब तक वहां से रिपोर्ट मिलती है, तब तक दूषित खाद्य सामग्री जनता के पेट में जा चुकी होती है।