भोपाल जेल में पूर्व होमगार्ड जवान की मौत
भोपाल में हत्या के आरोप में बंद विचाराधीन बंदी पूर्व होम गार्ड जवान की मौत हो गई। मृतक के बेटे ने पिता की मौत को संदिग्ध बताया है। आरोप लगाया कि तीन दिन पहले जब वे पिता से मिलने गए थे तब दो लोग उन्हें कंधे पर लटकाकर लेकर आए थे।
बेटे सुनील दुबे ने कहा कि हमने जेलर से उनका इलाज कराने की बात कही तो उन्होंने नाराज होकर काम से काम रखने की नसीहत दे दी।
जेलर एम एस मरावी का कहना हैं कि
आरोप निराधार हैं, जेल में होने वाली मौत की न्यायिक जांच में सब साफ हो जाएगा। प्रारंभिक तौर पर डॉक्टरों ने मौत हार्ट अटैक के कारण होना बताया है।
जेल में विचाराधीन बंदी की मौत
मृतक के बेटे ने बताया कि गुरुवार को पहले कॉल पर पिता की तबीयत खराब होने की जानकारी दी गई। कुछ ही देर में उनकी मौत की जानकारी दी गई। जब हम भोपाल पहुंचे तो उनका शव मिला। जेल में समय रहते उन्हें इलाज मिलता तो शायद उनकी जान बच जाती।
मामले की जांच कर रहे गांधी नगर थाने के प्रधान आरक्षक अशोक प्रजापति ने बताया कि मृतक लक्ष्मी प्रसाद दुबे पुत्र रामनिहोर दुबे (64) मूल रूप से रीवा के रहने वाले थे। वह होम गार्ड में बतौर आरक्षक पदस्थ रहे हैं। 23 फरवरी 2023 को उन्होंने हरदा में एक युवक की हत्या की थी। 3 मार्च 2023 को हरदा पुलिस ने उनकी गिरफ्तारी की। कुछ समय हरदा जेल में रहे, बीते एक साल से भोपाल सेंट्रल जेल में बंद थे। उनका केस फिलहाल अंडर ट्रायल है।
डॉक्टरों ने हार्ट अटैक के चलते मौत की आशंका जाहिर की है। न्यायिक अभिरक्षा में हुई मौत के कारण केस की ज्यूडिशियल जांच कराई जाएगी।
बेटे ने प्रबंधन पर खड़े किए सवाल
मृतक के बेटे सुनील दुबे ने बताया कि 7 दिसंबर को पिता से मुलाकात करने गया था, तब उनकी तबीयत बेहद खराब थी। चलने फिरने के लायक भी नहीं थी। पिता ने बताया था, तबीयत बेहद खराब है। मैंने जेलर साहब से बात की। बताया कि पिता की हालत बेहद नाजुक है। उन्हें इलाज मिल जाए तो उचित होगा। तब जेलर ने कहा कि बंदी का क्या करना है, यह मेरा काम है। आप अपने काम से काम रखें। तब मैंने कहा की चाहें तो पिता को बाहर एक बार चेक अप के लिए भेज दें।
जेलर ने फिर जवाब दिया कि यह मेरा काम है, देखता हूं क्या करना है। इसके बाद हमने वकालत नामे पर पिता के साइन लिए और वहां से चले गए। 12 दिसंबर की दोपहर 12 बजे मेरे पास कॉल आया कि पिता की हालत बेहद खराब हो चुकी है, आकर उन्हें देख लो, बीमार हैं।
अगला कॉल जब आया तो सीधे उनकी मौत की सूचना दी गई। मेरा यही कहना है कि जेल स्टाफ ने समय रहते उन्हें अस्पताल में नहीं दिखाया, मरने के बाद ही बाहर निकाला गया हैं।
चोरी के शक में की थी हत्या
23 फरवरी 2023 को हरदा बस स्टैंड पर सिराली थाना क्षेत्र के ग्राम गोमगांम निवासी बंटी उर्फ विजय काजवे पिता रामदीन काजवे का शव मिला था। इसके बाद पुलिस ने मर्ग कायम कर जांच शुरू की। पोस्ट मार्टम रिपोर्ट में विजय की मौत सर व फेफड़ों पर लगी चोट से होने की बात सामने आयी थी।
इसके बाद पुलिस ने बस स्टैंड के सीसीटीवी फुटेज खंगाले। जहां पर रैन बसेरा के पास युवक के साथ लठ से मारपीट करते एक व्यक्ति दिखा। आरोपी की पहचान लक्ष्मी प्रसाद दुबे निवासी चिरहट जिला रीवा के रूप में हुई, जो पूर्व में होम गार्ड जवान था।
नौकरी से निकाले जा चुके थे
लक्ष्मी प्रसाद को नौकरी से निकाला जा चुका था। वह मृतक के साथ ही रहकर बस स्टैंड पर दुकानों पर चाय देकर अपना गुजारा करता था।
हिरासत में लिए जाने के बाद लक्ष्मी प्रसाद दुबे ने पूछताछ में बताया था कि उनका सामान चोरी हो गया था, जो बंटी उर्फ विजय के पास होने का शक हुआ। सामान लेने के लिए बंटी से मारपीट की थी। जिसमें बंटी उर्फ विजय की मौत हो गई थी।
घटना के बाद आरोपी रीवा के चिरहट चला गया था। हरदा पुलिस ने उसे वहीं से गिरफ्तार किया था। आरोपी हरदा में ही होम गार्ड जवान के पद पदस्थ रह चुका था, जिसे नौकरी से निकाला गया था। इसके बाद वह वहीं काम करने लगा था।