मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव से पहले आठ लाख ग्रामीण आवास बनाए जाएंगे
भोपाल (राज्य ब्यूरो)। प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले आठ लाख प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास के निर्माण का लक्ष्य पूरा हो जाएगा। प्रदेश में 30 लाख आवास बनने हैं। इनमें से 22 लाख आवास का निर्माण पूरा हो चुका है। साढ़े तीन लाख हितग्राहियों को पिछले दिनों मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 875 करोड़ रुपये की पहली किस्त दी है। वहीं, साढ़े चार लाख आवास और बनाने का प्रस्ताव तैयार किया गया है।
इसके साथ ही पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग ने प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास प्लस योजना के लिए तीस लाख नए आवास स्वीकृत कराने का प्रस्ताव बना है, जिसे अप्रैल-मई माह में केंद्र सरकार को भेजा जाएगा। इसमें उन हितग्राहियों को शामिल किया गया है, जो वर्ष 2018 में पात्र होने के बाद भी निर्धारण सीमा पूरी होने के कारण योजना में शामिल नहीं हो पाए थे।
प्रदेश में प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास का निर्माण अब तेजी के साथ हो रहा है। कोरोना काल में एक लाख 75 आवास का निर्माण किया गया था। मध्य प्रदेश योजना के बेहतर क्रियान्वयन वाले प्रथम पांच राज्यों में शामिल है। वर्ष 2011 की आर्थिक सामाजिक जनगणना के आधार पर 27 लाख आवास स्वीकृत हुए थे। बाद में इसमें कुछ और वृद्घि हुई। विभाग ने तय किया है कि वर्ष 2023 तक तीस लाख आवास का निर्माण कर लिया जाएगा।
इसके लिए प्रमुख सचिव उमाकांत उमराव ने साप्ताहिक समीक्षा की व्यवस्था प्रारंभ कर दी है। प्रथम किस्त के भुगतान के बाद आवास निर्माण की प्रगति की निरंतर समीक्षा की जाती है ताकि निर्माण कार्य समय से पूरा हो जाए। इसका फायदा यह हुआ कि पिछले साल तक जो निर्माण 273 दिन में पूरा हो रहा था वो अब 230 दिन के नीचे आ गया है।
पूर्व स्वीकृत आवासों के साथ-साथ नए प्रकरण स्वीकृत कराने का प्रस्ताव तैयार हो गया है। केंद्र सरकार के निर्देश पर 2018 में सर्वे कराया गया था। इसके आधार पर तीस लाख नए हितग्राहियों को योजना का लाभ दिलाने का प्रस्ताव तैयार किया गया है।
केंद्रीय बजट में प्रधानमंत्री ग्रामीण और शहरी आवास के लिए प्रविधान होने के बाद अब राज्य सरकार की ओर से अप्रैल-मई में केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय को आवास स्वीकृति के लिए प्रस्ताव भेजा जाएगा।
23 हजार 972 करोड़ रुपये हो चुके हैं व्यय
प्रदेश में 20 नवंबर 2016 से प्रारंभ हुई इस योजना में अब तक 23 हजार 972 करोड़ रुपये हो चुके हैं। साढ़े तीन लाख हितग्राहियों को 875 करोड़ रुपये पिछले सप्ताह जारी किए गए हैं।