महिला व बाल सुरक्षा एवं उत्कृष्ट अनुसंधान हेतु ऊर्जा डेस्क संचालकों एवं बालकल्याण अधिकारियों का सयुंक्त प्रशिक्षण सम्पन्न
महिला व बाल सुरक्षा एवं उत्कृष्ट अनुसंधान हेतु वरिष्ठ अधिकारियों मार्गदर्शन में *”ऊर्जा डेस्क संचालकों एवं बालकल्याण अधिकारियों”* का सयुंक्त प्रशिक्षण कमिश्नर कार्यालय में एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया।प्रशिक्षण के शुभारंभ में DCP HQ श्री विनीत कपूर द्वारा पुलिसकर्मियो से रोलप्ले करवाया गया, जिसमें उन्होंने DIR फॉर्म के बारे में बहुत महत्वपूर्ण जानकारी दी। DIR फॉर्म को कैसे पुलिस के लिए एक महत्वपूर्ण दस्तावेज बनाया जा सकता है, इसके बारे बताया तथा अन्य विभागों से समन्वय स्थापित करने हेतु फॉर्म जारी करने हेतु भी निर्देश दिए गए। रोलप्ले में पुलिसकर्मियों को विभिन्न ग्रुप्स में बाटकर DIR फॉर्म भरवाया गया, जिसमें पुलिस वालों को ही फरियादी बनाया गया एवं कुछ पुलिसवालों द्वारा पुलिस अधिकारी की भूमिका निभाई गई तथा फरियादिया/पीड़िता की समस्याओं के आधार पर DIR फार्म भरवाना सुनिश्चित किया गया।उक्त सेमिनार में व्याख्याता श्रीमती योगिता मुकाती (गौरवी संस्था,CDC) द्वारा DIR फॉर्म भरने मे जो गलती हुई है, उनके बारे में बिन्दुवार विस्तृत रुप से बताया गया तथा यह सुनिश्चित किया गया कि किन-किन बिंदुओं के आधार पर हमें DIR फॉर्म भरना है एवं फॉर्म भरते समय किन-किन बातो का विशेष ध्यान रखना है।सेमिनार के दूसरे सेशन में श्रीमती अर्चना सहाय (चाइल्ड लाईन/आरंभ संस्था) द्वारा बताया गया कि मेडिकल परिक्षण के दौरान पुलिस अढ़िकारियो के साथ क्या क्या दिक्कते आती हैं, किन किन चीजों की आवश्यकता होती है, उन्हे किस प्रकार से समन्वय बनाकर कार्य करना चाहिये, इस बारे में विस्तृत रुप से बताया गया।इसी तरह श्रीमती लिजी थोमस (उदय संस्था) द्वारा यह चर्चा की गईं कि जब NGO के माध्यम से जब कोई सेमिनार या जन संवाद आयोजित करते हैं या NGO जब थाना स्तर पर कार्य करते है तो क्या क्या परेशानियां आती है। उक्त समस्याओं पर विचार विमर्श किया गया एवं इसका शीघ्र अतिशीघ्र निराकरण किया जाये, इस बारें में सुनिश्चित किया गया ।उक्त प्रशिक्षण के दौरान एडिशनल डीसीपी श्रीमती ऋचा चौबे, एसीपी सुश्री निधि सक्सेना, एसीपी श्री अजय मिश्रा, इंस्पेक्टर श्रीमती निशा अहिरवार एवं बाल कल्याण अधिकारी व ऊर्जा डेस्क संचालक मौजूद रहे।