विद्यार्थियों के पढ़ने के लिए जबलपुर के गांधी भवन में होंगी 15 हजार डिजिटल किताबें, कैसे पढ़ सकेंगे जानें यहां
गांधी भवन का स्वरूप पूरी तरह से बदलने जा रहा है। यहां चल रहे जीर्णोद्धार का काम जल्द पूरा हो जाएगा। जिसके बाद यहां पर हर उम्र के लोगों के पढ़ने के लिए देश और दुनिया की सभी महत्वपूर्ण किताबें होंगी। इतना ही नहीं यहां पर लगभग 15 हजार किताबों को सिस्टम पर अपलोड किया गया है। इन्हें पढ़ने के लिए यहां पर 100 से ज्यादा स्क्रीन लगाई गई है।निगमायुक्त आशीष वरिष्ठ ने गांधी भवन के चल रहे कार्यो का निरीक्षण किया। इस दौरान स्मार्ट सिटी द्वारा किए जा रहे कार्यो को उन्होंने देखा। इस दौरान अधिकारियों ने उन्हें नए स्वरूप के तहत तैयार की गई ड्राइंग को दिखाया।दरअसल इस भवन को शहर में एरिया बेस्ट डेवलपमेंट (एबीडी) के कई विकास काम किए जा रहे हैं। इसमें शहर के लोगों से लेकर विद्यार्थियों की सुविधा के लिए गांधी भवन को नया स्वरूप दिया गया है। इस दौरान उन्होंने भवन के कार्यो को तय समय सीमा में करने के निर्देश दिए।
निगमायुक्त ने रानीताल ट्रेंचिंग ग्राउंड में बन रहे नए गार्डन का भी निरीक्षण किया। उन्होंने बताया कि पूर्व में शहर से निकलने वाला कचरा रानीताल ट्रेंचिंग ग्राउंड में डंप किया जाता था, लेकिन अब कचरे पर वाक वे के साथ-साथ सुंदर एवं मनमोहक उद्यान बनाया जा रहा है। उन्होंने यहां काम कर रहे अधिकारियों से सभी निर्धारित कार्यों को तय समय सीमा में पूर्ण किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कंसलटेंट, ठेकेदार के साथ अधिकारियों को कहा कि यदि काम में किसी तरह की लापरवाही मिली तो उसके विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
लाइब्रेसी होगी खास– लाइब्रेरी के सॉफ्टवेयर में 15 हजार से ज्यादा क़िताबों को डिजिटल फॉर्मेट में अपलोड किया गया है।- इस लाइब्रेरी को साहित्य, खेल, प्रतियोगी परीक्षाओं से जुडी किताबें को रखा जाएगा।- इनमें से अधिकांश किताबें डिजिटल फार्मेट में होंगी, ताकि विद्यार्थी आसानी से इन्हें पढ़ सकें।- इसके लिए गांधी भवन लाइब्रेरी में 100 से अधिक कंप्यूटर स्क्रीन लगाए गई हैं।
यहां पर पीएससी, बैंक, रेलवे सहित संविदा वर्ग से जुड़ी परीक्षाओं के कंटेंट, करंट अफेयर्स की पुस्तकें भी होंगी।- यहां पर डिजिटल तरीके से जर्मन, फ्रेंच जैसी अन्य भाषाएं भी पढ़ और उन्हें सीख सकते हैं।